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जनवरी 15, 2025 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

बाँझपन (Sterility)पुरुषों मैं बांझपन, वीर्य की कमी,virya ki kami

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(बाँझपन (Sterility)पुरुषों  मैं बांझपन, वीर्य की कमी) रोग परिचय इस रोग का अत्यन्त ही सीधा सादा सा अर्थ है बच्चे न होना । स्वी गर्भधारण करने में असमर्थ रहती हैं। यह रोग पुरुषों को भी होता है। पुरुष भी स्वी को गर्भ स्थापित करने में असमर्थ हो सकता है। यदि पति में दोष न होने पर विवाहोपरान्त भी 5 बर्ष तक गर्भ न ठहरे तो स्वी को बाँझ रोग से ग्रसित माना जाता है। इस रोग के मुख्यतः दो कारण हैं। 1. जन्मजात-जैसे खी का जन्म से ही गर्भाशय न होना अथवा गर्भाशय बहुत ही छोटा होना, कुमारी पर्दा बहुत मोटा और बिल्कुल बन्द होना, योनि की नाली बिल्कुल बन्द होना या उसका अन्तिम भाग बन्द या बहुत तंग होना अथवा फैलोफियन ट्यूबों का न होना अथवा बन्द होना, डिम्बाशय का न होना या बन्द होना, गर्भाशय का मुख बिल्कुल ही बन्द हो जाना इत्यादि । 2. भगद्वार के ओष्ठों का आपस में जुड़ जाना-गर्भाशय शोथ, गर्भाशय का उलट जाना, गर्भाशय में बहुत अधिक चर्बी एकत्र हो जाना, गर्भाशयकठोर हो जाना, डिम्बाशय पर आप्राकृतिक झिल्ली उत्पन हो जाना और उसकी रचना खराब हो जाना, फेलोपियन ट्यूब के झालर वाले किनारे खराब हो जाना, उपदंश श्व...

गर्भाशय में दर्द,bachedani mein dard,garbh mein dard

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(गर्भाशय में दर्द,bachedani mein dard,garbh mein dard) रोग परिचय गर्भाशय में अत्यधिक मात्रा में रक्त एकत्रित हो जाने, गर्भाशय शोध, गर्भाशय के घाव, कैन्सर, गर्भाशय का अपने स्थान से हट जाना, झुक जाना, गर्भाशय की बबासीर, अफारा, बच्चा जनने में अधिक कष्ट, मासिक धर्म का कम अथवा अधिक मात्रा में आना, आँवल रुक जाना, गर्भाशय में तरल इक‌ट्ठा हो जाना, गर्भाशय में रसूली हो जाना तथा एलर्जी इत्यादि कारणों से स्वियों के गर्भाशय में तीव्र कष्ट व दर्द हो जाया करता है। उपचार • खशखश 2 तोला और खुरासानी अजवायन 2 माशा को सवासेर पानी में उबालकर छानकर मामूली गरम पानी से डूश करें। लाभप्रद है। नीम के पत्ते कूटकर लुगदी बनाकर गरम-गरच पेडू पर टकोर करना भी अत्यधिक लाभप्रद है। • सौंफ 6 माशा, धनिया 6 माशा, अरन्ड की छाल 6 माशा, सौंठ 3 माशा आधा सेर पानी में उबाल लें। चौथाई पानी शेष रह जाने पर मल-छानकर पिलाना बच्चा होने के समय में लाभकारी है।